जब दिल चाहता कुछ औऱ है पर करना पड़ता कुछ औऱ है...
अब हम नहीं रहे तुम्हारे, पर तुम अब भी हो हमारे,
तुमने कहा हमसे भुला दें तुम्हें लो अब हमने भुला दिया तुम्हें
पर ये तो बता दो हमें हमने तो कुछ कहा नहीं तुमसे
अब तुम कहो क्या हमें भुला दिया तुमने?
तुम कहते हो भूल जाऊं तुम्हें पर तुम चाहते नहीं मैं भूला दूं तुम्हें
तुम कहते दूर हो जाऊं तुझसे पर तुम चाहते नहीं दूर हो जाऊं तुमसे
न जाने ये कैसी कसमकश है
जब दिल चाहता कुछ औऱ है पर करना पड़ता कुछ औऱ है...
No comments:
Post a Comment